Sahitya Samhita

Sahitya Samhita Journal ISSN 2454-2695

Hindi Articles

6/recent/ticker-posts

क्रिसमस: एक विस्तृत लेख Christmas Festival

 क्रिसमस (Christmas) एक प्रमुख ईसाई त्योहार है, जिसे हर साल 25 दिसंबर को यीशु मसीह के जन्म के उपलक्ष्य में मनाया जाता है। यह दिन न केवल धार्मिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है, बल्कि सांस्कृतिक और सामाजिक दृष्टिकोण से भी बहुत खास है। यह दिन दुनिया भर में प्रेम, शांति, और भाईचारे के प्रतीक के रूप में मनाया जाता है। क्रिसमस की तैयारी, उत्सव और इसके साथ जुड़ी परंपराएं विशेष रूप से आनंद और उल्लास का वातावरण बनाती हैं।


इस लेख में हम क्रिसमस के महत्व, इतिहास, परंपराओं, और इसके मनाए जाने के तरीकों पर विस्तार से चर्चा करेंगे।


1. क्रिसमस का इतिहास

क्रिसमस का इतिहास बाइबिल के समय से जुड़ा हुआ है। ईसाई धर्म के अनुसार, यीशु मसीह का जन्म बेथलहम (Bethlehem) में हुआ था, और उनका जन्म मानवता को उद्धार प्रदान करने के लिए हुआ था। बाइबिल के अनुसार, यीशु का जन्म एक विशेष रात को हुआ था, जब आकाश में एक बड़ा तारा दिखाई दिया और एक स्वर्गदूत ने इस महान घटना की घोषणा की। यीशु के जन्म के समय, तीन बुद्धिमान पुरुष (जोकि मगि थे) उन्हें तोहफे देने के लिए पहुंचे थे, और उनका जन्म एक स्थिर और साधारण अस्तबल में हुआ था।

ईसाई धर्म के अनुयायी इस दिन को यीशु के जन्म के रूप में मनाते हैं, जो उनके जीवन के सर्वोत्तम सन्देश "प्रेम" और "दान" का प्रतीक है।

2. क्रिसमस का धार्मिक महत्व

क्रिसमस का धार्मिक महत्व केवल यीशु के जन्म से जुड़ा नहीं है, बल्कि यह ईसाई विश्वास का आधार भी है। यीशु मसीह के जन्म का उद्देश्य मानवता को परमेश्वर के प्रेम से परिचित कराना और उनके पापों से मुक्ति दिलाना था।

ईसाई धर्म में यह दिन विशेष रूप से प्रार्थना, पूजा और समुदायिक सेवा के लिए समर्पित होता है। लोग चर्च में जाते हैं, जहाँ विशेष क्रिसमस मिस्सा (Mass) आयोजित की जाती है। इस दिन के दौरान चर्चों में सुंदर सजावट, मोमबत्तियां और क्रिसमस कैरोल (संगीत) का आयोजन होता है।

3. क्रिसमस की परंपराएं

क्रिसमस ट्री (Christmas Tree)

क्रिसमस के उत्सव का एक प्रमुख हिस्सा होता है क्रिसमस ट्री, जिसे अक्सर एक देवदार के पेड़ पर सजाया जाता है। इसे आमतौर पर घर के मुख्य कमरे में रखा जाता है और इसे रंग-बिरंगे बल्ब, सितारे, मोती, और विभिन्न सजावटी सामान से सजाया जाता है। पेड़ के नीचे छोटे-मोटे तोहफे रखे जाते हैं, जो परिवार के सदस्य एक दूसरे को उपहार स्वरूप देते हैं।

क्रिसमस के गीत और संगीत

क्रिसमस के समय में क्रिसमस कैरोल (Christmas Carols) गाने की परंपरा है। यह गीत विशेष रूप से यीशु के जन्म और प्रेम, शांति और खुशहाली के संदेशों से जुड़े होते हैं। लोग चर्च, परिवारों और समुदायों में इकट्ठा होकर यह गीत गाते हैं, जिससे वातावरण में एक विशिष्ट उत्सवधर्मिता और खुशी का संचार होता है।

तोहफे और उपहारों का आदान-प्रदान

क्रिसमस का एक और महत्वपूर्ण हिस्सा उपहारों का आदान-प्रदान है। इस दिन लोग एक दूसरे को तोहफे देते हैं, जो प्यार और स्नेह का प्रतीक होते हैं। यह परंपरा विशेष रूप से सांता क्लॉज़ (Santa Claus) के कारण लोकप्रिय है। बच्चों का मानना है कि सांता क्लॉज़ रात के समय अपने दौरे के दौरान उन्हें उपहार देता है।

सांता क्लॉज़

सांता क्लॉज़ का किरदार क्रिसमस की परंपरा से जुड़ा हुआ है। वह एक खुशमिजाज बूढ़ा व्यक्ति होता है, जिसे लाल कपड़े पहनने और अपने साथ उपहारों से भरा एक बैग रखने के रूप में चित्रित किया जाता है। बच्चों को विश्वास होता है कि सांता क्लॉज़ 24 दिसंबर की रात को घरों में घुसकर उन्हें उपहार देता है। यह परंपरा खासतौर पर पश्चिमी देशों में बहुत लोकप्रिय है, लेकिन अब यह भारत जैसे देशों में भी तेजी से फैल रही है।

4. क्रिसमस के व्यंजन

क्रिसमस के उत्सव में खाने-पीने का भी अहम स्थान है। परिवार और दोस्त एक साथ मिलकर विशेष क्रिसमस भोजन का आनंद लेते हैं। कुछ प्रमुख क्रिसमस व्यंजन निम्नलिखित हैं:

  • क्रिसमस केक: क्रिसमस पर एक विशेष प्रकार का फलदार केक बनता है, जिसे सूखे मेवे, अंगूर, और मसालों के साथ तैयार किया जाता है।
  • रोस्ट टर्की: कई देशों में क्रिसमस पर रोस्ट टर्की (सांस्कृतिक रूप से पकाया गया बत्तख या टर्की) पकाने की परंपरा है।
  • पाइ: क्रिसमस पर विभिन्न प्रकार के पाई भी बनते हैं, जैसे ऐप्पल पाई और मिंट पाई।
  • पुडिंग: क्रिसमस की एक और पारंपरिक मिठाई क्रिसमस पुडिंग है, जो आमतौर पर सूखे मेवे और शराब के साथ तैयार की जाती है।

5. क्रिसमस का वैश्विक प्रसार

क्रिसमस एक वैश्विक त्योहार बन चुका है, और दुनिया भर के विभिन्न देशों में यह उत्साह और उल्लास के साथ मनाया जाता है। हालांकि यह मूल रूप से एक ईसाई धर्म से जुड़ा त्योहार है, परंतु अब यह विभिन्न सांस्कृतिक, धार्मिक और भाषाई पृष्ठभूमियों वाले देशों में भी मनाया जाता है।

भारत में भी, खासकर बड़े शहरों में, क्रिसमस को धार्मिक, सांस्कृतिक और सामाजिक तौर पर मनाया जाता है। चर्चों में विशेष प्रार्थनाएं और मिस्साएं होती हैं, जबकि बाजारों और घरों में सजावट और समारोह होते हैं।


निष्कर्ष

क्रिसमस एक ऐसा त्योहार है जो न केवल धार्मिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है, बल्कि यह प्रेम, शांति, और भाईचारे का प्रतीक भी है। यह त्योहार हमें एकजुटता, परस्पर सहयोग और दूसरों के प्रति दया और सम्मान का संदेश देता है। चाहे आप इसे धार्मिक रूप से मनाते हों या सांस्कृतिक रूप से, क्रिसमस का उत्सव एक वैश्विक धरोहर बन चुका है जो हर किसी के दिलों में आनंद और उल्लास का संचार करता है।